वृद्धावस्था पेंशन प्राप्त करने के लिए हरियाणा का 15 वर्ष पुराना निवास प्रमाण होना अनिवार्य - उपायुक्त
पलवल
उपायुक्त डा. हरीश कुमार वशिष्ठ ने जिला पलवल के गांव सल्लागढ़ निवासी बुजुर्ग रामबाबू की वृद्धावस्था पेंशन से संबंधी सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे वीडियो पर कड़ा संज्ञान लेते हुए कहा कि रामबाबू पिछले 15 वर्षों से पलवल जिले के स्थायी निवासी नहीं हैं। जांच में पाया गया कि रामबाबू उत्तर प्रदेश के एटा जिला के स्थाई निवासी हैं, जो कि कुछ वर्ष पूर्व ही पलवल में शिफ्ट हुए हैं। उन्होंने स्पष्ट किया कि निर्धारित नियमों के अनुसार पेंशन योजना का लाभ प्राप्त करने के लिए आवेदक का हरियाणा स्थाई निवास का 15 वर्ष पुराना प्रमाण का होना अनिवार्य है। आवेदक ने अभी तक हरियाणा में 15 वर्ष की अनिवार्य निवास अवधि पूर्ण नहीं की है, इसी कारण से उनका वृद्धावस्था पेंशन से संबंधित आवेदन स्वीकृत नहीं किया जा सका। उन्होंने आमजन से आह्वान किया कि वे पेंशन से संबंधित किसी भी प्रकार का वीडियो सोशल मीडिया पर प्रसारित करने से पहले जिला प्रशासन से उसकी पुख्ता पुष्टि कर लें ताकि जनता बेवजह भ्रमित न हो। संबंधित विभागीय अधिकारियों द्वारा यह स्पष्ट किया गया है कि राज्य सरकार द्वारा जारीदिशा-निर्देशों के अनुसार, पेंशन योजनाओं में पारदर्शिता एवं पात्रता की सुनिश्चितता के लिए निवास अवधि, आयु, आय सीमा तथा अन्य मापदंडों की शर्तें कड़ाई से लागू की जाती हैं। निर्धारित मानकों को पूरा न करने पर किसी भी व्यक्ति को योजना का लाभ प्रदान करना संभव नहीं होता। उन्होंने यह भी कहा है कि यदि आवेदक भविष्य में निर्धारित 15 वर्ष की निवास अवधि पूर्ण कर लेते हैं या आवश्यक दस्तावेज उपलब्ध करा पाते हैं, तो उनका पात्रता अनुसार आवेदन पुन: स्वीकार किया जाएगा और नियमानुसार पेंशन प्रदान करने की प्रक्रिया आगे बढ़ाई जाएगी। उपायुक्त डा. हरीश कुमार वशिष्ठ ने सभी नागरिकों से अपील की है कि किसी भी प्रकार की पेंशन या सामाजिक सुरक्षा योजना का लाभ लेने के लिए आवेदन करने से पूर्व अपने सभी दस्तावेज पूर्ण रखें तथा निर्धारित योग्यता मानदंडों का पालन करें। जिला प्रशासन आमजन कीसमस्याओं के समाधान के लिए लगातार संवेदनशील है और प्रत्येक पात्र व्यक्ति तक योजनाओं का लाभ पहुंचाने के लिए प्रतिबद्ध है।